Friday, 14 November 2025

खूब जला वो दिया

खूब जला वो दिया पर

अँधेरा दूर न कर सका

किया भी तो कुछ पल के लिए

दो दिन की रोशनी नें एहसास दिलाया

शायद अब न आएगा अंधियारा

..

दिया जलता रहा जलता रहा

था ह्रदय में विश्वास

वह रोशन करेगा संसार

थी उम्मीद और आस भी

किया संकल्प उसने

दी अपनी ज्योति

असंख्य दियों को उसने

फैलाई रोशनी चहुँ ओर उसने

मिटाया अंधकार हुआ चमत्कार

जगमगाने लगे सब ओर

दिये ही दिये

उजियारा हुआ पूरा संसार

उजियारा हुआ पूरा संसार

रेखा जोशी