सार छंद पर आधारित ''गीतिका ''
इस दुनिया की मैया तुम ही, जय जय हे जगदम्बे
करते हम सब भक्ति तेरी, जय जय हे जगदम्बे
....
है यश गाते माता तेरा ,तारे गौरी मैया
पूजा हम सब करते जननी , जय जय हे जगदम्बे
....
अर्पित करती फूलों को मै ,वारु तन मन अपना
दुख हम सब के मैया हरती, जय जय हे जगदम्बे
....
खुशियाँ जीवन में लाती तुम , तुम हो जीवन दाती
झोली सबकी मैया भरती , जय जय हे जगदम्बे
.....
जयकारा ज्योता वाली माँ ,आये तेरे दर पर
ऊँचे पर्वत पर तुम रहती ,जय जय हे जगदम्बे
रेखा जोशी
इस दुनिया की मैया तुम ही, जय जय हे जगदम्बे
करते हम सब भक्ति तेरी, जय जय हे जगदम्बे
....
है यश गाते माता तेरा ,तारे गौरी मैया
पूजा हम सब करते जननी , जय जय हे जगदम्बे
....
अर्पित करती फूलों को मै ,वारु तन मन अपना
दुख हम सब के मैया हरती, जय जय हे जगदम्बे
....
खुशियाँ जीवन में लाती तुम , तुम हो जीवन दाती
झोली सबकी मैया भरती , जय जय हे जगदम्बे
.....
जयकारा ज्योता वाली माँ ,आये तेरे दर पर
ऊँचे पर्वत पर तुम रहती ,जय जय हे जगदम्बे
रेखा जोशी
No comments:
Post a Comment