Monday, 14 July 2014

हूँ मै बहती नदिया

लहरें गुनगुनाती
किनारों के बीच
हूँ मै बहती नदिया

गोद में मेरी
खेलती मछलियाँ
बह रही निरंतर
मौन नीरव घाटियों में
झंकृत स्वर मेरे
मधुर धुन पर
लहरे गुनगुनाती
किनारों के बीच
हूँ मै बहती नदिया

सीने में उमंग
नवयौवना सी
लहराती
अठखेलियां करती
बलखाती धारा मेरी
मचलती
लहरें गुनगुनाती
किनारों के बीच
हूँ मै बहती नदिया

 रेखा जोशी 

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