Saturday, 27 July 2013

तारों की बरात

तारों की बरात

ऊँचे ऊँचे पेड़ों पर हसीं शब ने ली अंगड़ाई है ,
दिल को थाम लो यारो तारों की बरात आई है |
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मस्ती का आलम है दिल में बजती शहनाई है ,
हुस्न तेरा है और प्यार मेरा दुहाई है दुहाई है |
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लहरें प्यार भरी जब से इस दिल में लहराई है ,
लहराती हुई इन लहरों में मेरे प्यार की गहराई है
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दिल दीवाने मत जाना उधर वह इक परछाई है ,
धोखा और फरेब यहाँ पर हरपल देता रुसवाई है |
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आंसू मत बहाना तुम पल दो पल की जुदाई है ,
अच्छा तो अब चलते है घड़ी विदा की आई है |

रेखा जोशी 



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