मीत आज ज़िन्दगी हमें रही पुकार है रूप देख ज़िन्दगी खिली यहां बहार है पास पास हम रहें मिले ख़ुशी हमें सदा छोड़ना न हाथ साथ साथ हम चले सदा
रेखा जोशी
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