संग संग तेरे
मेरी माँ
रात भर मै सोई नहीं
तकिए पे गिरते आँसू तेरे
भिगो गये तन मन मेरा
अपनों के ताने सुन सुन
ज़ख़्मी हुआ
आज हम दोनों का मन
मत सुन उनकी आवाज़
मार मुझे कोख में अपनी
मत देना खुद को सज़ा
सुन पुकार तू
धड़कन की मेरी
हूँ बंधी मै
तेरे प्यार की डोर से
कोख तेरी से
गोद तेरी में
आने को मचल रही मै
नहीं चाहती मरना मै
देख लेना
आते ही संसार में मेरे
महक उठेगा अँगना तेरा
गर्व होगा मुझ पर तुम्हे
जब नाम रोशन होगा तेरा
जब नाम रोशन होगा तेरा
रेखा जोशी
मेरी माँ
रात भर मै सोई नहीं
तकिए पे गिरते आँसू तेरे
भिगो गये तन मन मेरा
अपनों के ताने सुन सुन
ज़ख़्मी हुआ
आज हम दोनों का मन
मत सुन उनकी आवाज़
मार मुझे कोख में अपनी
मत देना खुद को सज़ा
सुन पुकार तू
धड़कन की मेरी
हूँ बंधी मै
तेरे प्यार की डोर से
कोख तेरी से
गोद तेरी में
आने को मचल रही मै
नहीं चाहती मरना मै
देख लेना
आते ही संसार में मेरे
महक उठेगा अँगना तेरा
गर्व होगा मुझ पर तुम्हे
जब नाम रोशन होगा तेरा
जब नाम रोशन होगा तेरा
रेखा जोशी
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