2122 2122, 2122 21
दूर दोनों आज सबसे ,चलें हम उसपार
अब खिलेगा ज़िन्दगी में,प्यार का संसार
,
चल रहे हम साथ ले कर, हाथ में अब हाथ
प्यार की हम पर यहाँ बरसे सदा बौछार
..
राह मुश्किल जान कर तुम ,रुकना मत आज
फिर करेगी आज हम पर ,ज़िन्दगी उपकार
,
साथ मिल कर जब चले हम ,मीत रहना पास
कर लिया तेरी सजन अब,प्रीत को स्वीकार
,
तुम निभाना साथ मेरा, हम रहेंगे साथ
है खुशी अब ज़िन्दगी में,तुम देना अधिकार
रेखा जोशी
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