Sunday, 15 September 2013
शिव ही सुन्दर
रच कर सुन्दरता को वह स्वयं इसमें खो गया है
फिर स्वयं को खोज रहा यह उन्हें क्या हो गया है
मन ही मन आनंद ले है सुन्दरता ही परम सत्य
सत्य ही शिव है शिव ही सुन्दर भान यह हो गया है
रेखा जोशी
No comments:
Post a Comment
Newer Post
Older Post
Home
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
No comments:
Post a Comment