सुबह सुबह
मिल गई चाय
बिस्तर पर बैठे बिठाये
देख श्रीमती जी को
शर्मा जी मुस्कुराये
हाथ पकड़ बोले
चलो भाग्यवान
आज संडे मनाये
कुछ हमारी सुनो
कुछ अपनी सुनाओ
सुनते ही प्यार भरी बाते
श्रीमती जी के माथे पे
बल आये
हाथ झटक कर
वह गुर्राई
है आपके लिए
यह संडे फंडे
हमे तो हफ्ते भर का
काम बुलाये
आओ मिल कपडे धोयें
फिर खाना बनायें
बच्चों को होमवर्क कराये
शाम को घर के लिये
हफ्ते भर का मार्किट से
सामान लायें
संडे को बनाना है फंडे
तो जल्दी से तैयार हो जाईये
घर के हर काम को संग हमारे
मज़े लेते हुए
करते जाईये
बात सुन श्रीमती जी की
शर्मा जी बोले
काम वाम को भूल जायें
आज एक
अच्छी सी मूवी देख आयें
रेखा जोशी
मिल गई चाय
बिस्तर पर बैठे बिठाये
देख श्रीमती जी को
शर्मा जी मुस्कुराये
हाथ पकड़ बोले
चलो भाग्यवान
आज संडे मनाये
कुछ हमारी सुनो
कुछ अपनी सुनाओ
सुनते ही प्यार भरी बाते
श्रीमती जी के माथे पे
बल आये
हाथ झटक कर
वह गुर्राई
है आपके लिए
यह संडे फंडे
हमे तो हफ्ते भर का
काम बुलाये
आओ मिल कपडे धोयें
फिर खाना बनायें
बच्चों को होमवर्क कराये
शाम को घर के लिये
हफ्ते भर का मार्किट से
सामान लायें
संडे को बनाना है फंडे
तो जल्दी से तैयार हो जाईये
घर के हर काम को संग हमारे
मज़े लेते हुए
करते जाईये
बात सुन श्रीमती जी की
शर्मा जी बोले
काम वाम को भूल जायें
आज एक
अच्छी सी मूवी देख आयें
रेखा जोशी
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