जब
सुबह सुबह
गर्मागर्म
सुबह सुबह
गर्मागर्म
चाय का प्याला
हमारी
प्यारी श्रीमती जी ने
प्यारी श्रीमती जी ने
मुस्कुराते हुए
हमारे
हाथ में थमाया
उनकी प्रेम भरी
आँखों में
हमे
कुछ नज़र आया
तभी उन्होंने
हमारे हाथ में
बिजली का बिल
थमाया
देखते ही उसे
हमे ज़ोरों का
झटका आया
यह क्या
इतना ज्यादा बिल
कैसे आया
सारी सारी
रात आपनेश्रीमती जी
ए सी क्यों चलाया
जब न हो इस्तेमाल
तब पंखा बिजली
क्यों नही
बंद करवाया
महँगाई के आलम में
क्यों
हमारा
सर मुंडवाया
रेखा जोशी
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